बैंक प्रबंधक पर एक करोड़ 23 लाख रुपए गबन का है आरोप
किशनगंज /सागर चन्द्रा
लगातार पुलिस दबिश से घबराकर एक करोड़ 23 लाख रुपये की धोखाधड़ी करने मामले के आरोपी भगतटोली रोड इंडियन बैंक शाखा के तत्कालीन बैंक प्रबंधक अकबर अहमद ने मंगलवार को न्यायालय में आत्मसमर्पण कर दिया। बैंक प्रबंधक द्वारा अपने पद का दुरुपयोग करते हुए फर्जी बैंक गारंटी और फिक्स्ड डिपॉजिट के कागजात तैयार कर राज्य सरकार को करोड़ों रुपये की क्षति पहुंचाने का मामला टाउन थाना में तीन अलग अलग मामले दर्ज हैं। केस दर्ज होने के बाद से ही पुलिस फरार आरोपी के संभावित ठिकानों पर लगातार दबिश दे रही थी। आरोपी के आत्मसमर्पण करने के बाद अब पुलिस उसे रिमांड पर लेकर पूछताछ करने में जुट गई है।
जानकारी के अनुसार एक करोड़ 23 लाख रुपये जालसाजी करने का मामला उजागर होने के बाद ग्रामीण कार्य विभाग, कार्य प्रमंडल अररिया के कार्यपालक अभियंता के लिखित शिकायत पर तत्कालीन बैंक प्रबंधक अकबर अहमद के विरुद्ध टाउन थाना में कांड संख्या 543/19 दर्ज किया गया था। घटना को लेकर टाउन थाना में आरोपी के विरुद्ध कांड संख्या 103/19 और कांड संख्या 574/19 भी दर्ज की गई थी। जानकारी के अनुसार अररिया जिले के भूना, जौकीहाट निवासी संवेदक गुफरान मुस्तकीम ने पीएमजीएसवाई योजना के तहत पूल निर्माण कार्य के लिए स्थानीय भगतटोली रोड स्थित इंडियन बैंक द्वारा निर्गत फिक्स्ड डिपॉजिट और बैंक गारंटी के कागजात जमानत के तौर पर ग्रामीण कार्य विभाग के कार्यालय में जमा किये थे।
कार्यालय के द्वारा बैंक को पत्र लिखकर कागजातों की जांच करने का आवेदन दिया था।जबकि बैंक ने हस्ताक्षर और मोहर के साथ डिपोजिट और बैंक गारंटी को सही ठहराया था।घटना के बाद कार्यपालक अभियंता द्वारा जमानत की राशि के रूप में जमा फिक्स्ड डिपॉजिट और बैंक गारंटी के बदले में बैंक ड्राफ्ट निर्गत करने के लिए बैंक से कई बार पत्राचार किया गया।क्योंकि बैंक गारंटी की अवधि 26 फरवरी को समाप्त हो रही थी।
लेकिन गत 18 फरवरी को अचानक इंडियन बैंक ने बैंक गारंटी और फिक्स्ड डिपॉजिट के फर्जी होने का हवाला देते हुए बैंक ड्राफ्ट देने से साफ इंकार कर दिया।बैंक ने बताया कि तत्कालीन शाखा प्रबंधक के द्वारा बैंक गारंटी और फिक्स्ड डिपॉजिट फर्जी जारी किया गया था।घटना की जानकारी मिलते ही ग्रामीण कार्य विभाग के अधिकारियों और कर्मियों के होश उड़ गए। इधर संवेदक की मौत होने के बाद बैंक गारंटी के नाम पर फर्जीवाड़े का मामला उजागर हुआ। मामले में इससे पूर्व अररिया ग्रामीण कार्य विभाग के कार्यपालक अभियंता अरबिंद कुमार ने भी एक माह पूर्व सदर थाने में कांड संख्या 543/19 के तहत तत्कालीन बैंक प्रबंधक अकबर अहमद के विरुद्ध मामला दर्ज करवाया था। लेकिन इस बीच संवेदक की मौत हो गई। नतीजतन सभी कार्य अपूर्ण रह गया।



